कम्प्यूटर एक ऐसी इलेक्ट्रानिक युक्ति है जो इनपुट किये गये डाटा व निर्देशों के समूह (Instructions) को पढ़कर, इनका तीव्र गति व परिशुद्धता से प्रक्रियांकन (Processing) कर वांछित परिणाम (output) प्रदान करती है। कंप्यूटर के संस्थापक चार्ल्स बैबेज है, जिन्हे कंप्यूटर का पिता भी कहा जाता है।
कंप्यूटर का फुल फॉर्म क्या है
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C – Commonly
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O – Operated
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M – Machine
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P – Particularly
·
U – Used for
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T – Technical and
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E – Educational
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R – Research
कंप्यूटर के लाभ (Benefits of Computer)
1. Multitasking
मल्टीटास्किंग कंप्यूटर का एक बहुत ही महत्वपूर्ण हिस्सा है। जिसकी मदद से User एक साथ कई कार्य कर सकता है। कंप्यूटर में ऐसे कई
Software, Language को Store किया जाता है, जो की किसी भी Calculation को एक सेकेंड से भी कम समय में
Calculate कर देता है।
2. Speed
कंप्यूटर के अंदर Speed गति भी एक महत्वपूर्ण विशेषता है। जो की बहुत जल्दी ही तेज गति से किसी भी कार्य को करने की क्षमता रखता है। अगर आप एक साथ Multiple कार्य करते है, तो यह आपके कंप्यूटर की गति पर निर्भर करता है। हालाकिं सभी कंप्यूटर में Speed को उसके Programe के हिसाब से अच्छी तरह Optimize किया जाता है।
3. Data Storage
कंप्यूटर Data Storage का एक बहुत ही अच्छा
Solution है। आप इसके अंदर Hard Drive Disk की ममद से बहुत ज्यादा मात्रा में Data को Store कर सकते है। जिसमे आपको ज्यादा पैसे भी खर्च नहीं करने पड़ते है।
4. Accuracy
Accuracy
कंप्यूटर का एक मुख्य हिस्सा है, जिसकी वजह से यह इसे और भी ज्यादा उपयोगी बनता है। क्योकिं कंप्यूटर के द्वारा की गयी Calculation कभी भी गलत नहीं होती है। यह हमेशा
Accurate Information ही देता है। हालाकिं कभी कभी आपके किसी सॉफ्टवेयर में कोई Virus आदि आने के कारण कुछ गलतियां हो भी सकती है, लेकिन फिर भी गलती होने की सम्भावना ना के बराबर ही होती है।
5. Data Security
अगर आपको नहीं पता है, की Data Security क्या है तो इस लेख को जरूर पढ़ें। कंप्यूटर के अंदर Data
Security का विकल्प भी होता है। जिसका उपयोग करके आप अपने Computer को Secure कर सकते है। इससे आपका Data Cyber Attack से बचा रहता है।
6. Automation
जिस तरह से हम दूसरी Automatic मशीन को देखते है, जो अपना कार्य बटन दबाने पर आटोमेटिक करती रहती है। उसी तरह से कंप्यूटर भी एक
Automatic मशीन है। जिसमे आप कुछ कमांड का उपयोग करके अपने सभी Data को Automation के द्वारा
Coustomize कर सकते है।
कंप्यूटर काम कैसे करता है?
कंप्यूटर एक प्रकार की मशीन है, जो की सॉफ्टवेयर और हार्डवेयर से मिलकर बनी है। कंप्यूटर सबसे पहले Input
Unit से डाटा को प्राप्त करता है, इसके बाद उस Data को Process करता है, और इसे Output Unit के माध्यम से Device
को देता है।
कंप्यूटर को कितने भागों में बांटा जाता है?
कंप्यूटर को 2 भागों में बांटा गया है - 1. हार्डवेयर 2. सॉफ्टवेयर
कंप्यूटर छोटा हो या बड़ा इसके चार मुख्य भाग होता है-
1. आउटपुट यूनिट (Output Unit)
2. इनपुट यूनिट (Input Unit)
3. सेंट्रल प्रोसेसिंग यूनिट (CPU)
4. मेमोरी (Memory)
हार्डवेयर क्या हैं और इसके प्रकार:
हार्डवेयर एक ऐसा Term है जिसका प्रयोग कंप्यूटर के फिजिकल पार्ट्स के लिए किया जाता है। कंप्यूटर के वे भाग जिन्हें हम देख सकते है तथा छू सकते है उन्हें हार्डवेयर कहा जाता है। जैसे- Keyboard, Mouse, Printer, Disks, Speaker आदि।
हार्डवेयर को Functioning के लिए सॉफ्टवेयर द्वारा निर्देशित किया जाता है। किसी कार्य को करने के लिए हार्डवेयर को सॉफ्टवेयर बताता है कि क्या करना है और कैसे करना है।
हार्डवेयर और सॉफ्टवेयर दोनो मिलकर पूरे कंप्यूटर सिस्टम को चलाते हैं। कंप्यूटर सिस्टम की Functioning के लिए दोनों ही महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।
हार्डवेयर के प्रकार |Types
of Hardware
कंप्यूटर हार्डवेयर को दो भागों में विभाजित किया जाता है –
1. Internal Hardware – इंटरनल हार्डवेयर पार्ट्स वे होते हैं जो कंप्यूटर सिस्टम के अंदर उपस्थित होते है और आंतरिक रूप से कार्य करते हैं। इन पार्ट्स को देखने के लिए कंप्यूटर सिस्टम को खोलने की जरूरत होती है। Internal हार्डवेयर पार्ट्स को Components भी कहा जाता है।
उदाहरण – CPU, Motherboard, Fan, Modem, RAM, Sound
Card, Video Card, Drive आदि।
2. External Hardware – एक्सटर्नल हार्डवेयर पार्ट्स को Peripherals भी कहा जाता है। ये कंप्यूटर के वे भाग होते हैं जो Externally कंप्यूटर से जुड़े होते हैं और कंप्यूटर की Functioning में सहायक होते हैं।
उदाहरण – Mouse, Monitor, Keyboard, Speaker,
Printer, Scanner आदि।
कंप्यूटर हार्डवेयर पार्ट्स को अन्य निम्नलिखित श्रेणियों में भी बाँटा जाता है जो इस प्रकार है –
● Input
Device – ये कंप्यूटर हार्डवेयर की वे डिवाइस होती हैं जो हमे कंप्यूटर में डेटा एंटर करने मे मदद करती है। इनकी सहायता से कंप्यूटर को निर्देश दिए जाते हैं। उदाहरण – Keyboard, Mouse, Scanner, Joystick,
Trackball आदि।
● Output
Device – वे डिवाइस जो हमे दिए गए इनपुट का रिजल्ट देती हैं उन्हें आउटपुट डिवाइस कहा जाता है। कंप्यूटर को दिए गए निर्देशो का परिणाम हमे इन्ही की मदद से प्राप्त होता है। उदाहरण – Monitor, Printer, Speaker, Projector,
Headphones आदि।
●
Storage Device – जैसे कि नाम से ही पता चलता हैं। स्टोरेज अथार्त स्टोर करना। स्टोरेज डिवाइस वो हार्डवेयर पार्ट्स होते हैं जिनका उपयोग सूचना को स्टोर करने के लिए किया जाता है। बिना स्टोरेज डिवाइस के कंप्यूटर काम नही कर सकता। स्टोरेज डिवाइस डेटा या सूचना को स्थायी और अस्थायी दोनो रूपो में स्टोर करती हैं। उदाहरण – RAM, ROM, CD, DVD, Hard disk,
Pendrive आदि।
●
Processing Device – प्रोसेसिंग डिवाइस हार्डवेयर के वे components होते हैं जो कंप्यूटर सिस्टम के अन्दर Information को प्रोसेस करने में सहायक होते हैं। उदाहरण – CPU, Motherboard आदि।
कंप्यूटर में हार्डवेयर की उपयोगिता |Importance of
Hardware in Computer
Software द्वारा
जो आदेश कंप्यूटर सिस्टम
को दिए जाते हैं
उन सबको हार्डवेयर पार्ट्स
द्वारा ही क्रियान्वित किया
जाता है।
Hardware कैसे काम करता हैं?
कंप्यूटर हार्डवेयर किसी
कार्य को
Input, Processing और Output इन तीन Steps में पूरा
करता है।
हम इसे
इस प्रकार
समझ सकते
हैं –
1. Input – कंप्यूटर द्वारा
किसी भी
कार्य को
करने के
लिए सबसे
पहले कोई
डेटा इनपुट
किया जाता
है और
यह काम
इनपुट हार्डवेयर द्वारा
किया जाता
है। डेटा
को इनपुट
करने के
लिए keyboard, Mouse आदि उपकरणों
का उपयोग
किया जाता
है।
2. Processing – कंप्यूटर में डेटा जब इनपुट कर दिया जाता
है तो
उसके बाद
इसकी processing होती है और processing का
यह काम
कंप्यूटर का
मष्तिष्क यानि
CPU (Central Processing Unit) द्वारा
किया जाता
है। CPU डेटा
को Receive करता है और दिए गए Instructions के
आधार पर
कार्य करता
है।